मौसम बदलने से गले की खराश और खांसी जैसी समस्याएं भी बढ़ने लगी हैं। इन रोगों से निपटने के लिए हर बार एंटीबायोटिक्स का इस्तेमाल ठीक नहीं रहता है। आप कुछ आयुर्वेदिक उपायों के जरिए भी इनसे राहत पा सकते हैं।
मानसून सीजन चल रहा है और इस मौसम में बारिश की वजह से तबीयत बिगड़ने का भी सबसे ज्यादा खतरा होता है। माना जाता है कि इस मौसम में इम्यून सिस्टम कमजोर हो जाता है और यही वजह है कि कोई भी व्यक्ति आसानी से फ्लू, सर्दी, खांसी, गले की खराश, जुकाम, नाक बहना, ज्यादा बलगम बनना जैसे परेशान करने वाले रोगों की चपेट में आ जाता है।
इधर कोरोना वायरस और मंकीपॉक्स जैसी महामारी का भी प्रकोप जारी है और इनके ज्यादातर लक्षण भी सर्दी-खांसी और फ्लू से मिलते-जुलते हैं। यही वजह है कि एक्सपर्ट सतर्क रहने की सलाह देते हैं। इनमें से गले में खराश एक ऐसा लक्षण है, जो बदलते मौसम के साथ कोरोना के मरीजों में भी देखा जाता है।
अगर आप भी गले की खराश से पीड़ित हैं, तो आयुर्वेद डॉक्टर दीक्षा भावसार आपको कुछ उपाय बता रही हैं जिनसे आपको फायदा हो सकता है। ध्यान रहे कि इन रोगों के लिए बार-बार एंटीबायोटिक्स का इस्तेमाल ठीक नहीं है।
मेथी का पानी
1 चम्मच मेथी को 250 मिलीलीटर पानी में 5 मिनट तक उबालें, छानकर पी लें। यह उपाय गले की खराश, खांसी, बलगम जैसी समस्याओं का बढ़िया इलाज है।
आंवला रस
15-20 मिलीलीटर आंवले का रस 1 चम्मच शहद के साथ दिन में दो बार लें। इससे आपको फायदा मिल सकता है और गले की जलन और दर्द को कम किया जा सकता है।
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अदरक की चाय
एक इंच ताजा अदरक को 1 कप पानी में 3-4 मिनट के लिए उबालें, अदरक की चाय को छानकर पीएं, जो गले के साथ-साथ आपके पेट की सूजन को भी शांत करती है।
हल्दी+नमक के पानी से गरारे करना
डॉक्टर दीक्षा के अनुसार, गले की खराश से राहत पाने के लिए आपको बस 250-300 मिली पानी चाहिए। उसमें 1 टेबल स्पून हल्दी और आधा टेबल स्पून नमक डालें और 5 मिनट तक उबालें। एक बार जब यह छूने के लिए पर्याप्त गर्म हो जाए, तो इससे गरारे करें। आप दिन में 3-4 बार गरारे कर सकते हैं। यह आपके गले की जलन और दर्द को कम करेगा।
यष्टिमधु और शहद
मुलेठी का चूर्ण 1 चम्मच लेकर शहद के साथ दिन में दो बार चूसें या गर्म पानी में डालकर दिन में दो बार गरारे करें।
शहद और गर्म पानी
बस थोड़ा गर्म पानी लें, उसमें आधा नींबू, थोड़ा शहद मिलाएं और इसे पी लें। इसके अलावा दिन भर गुनगुने पानी की घूंट लेते रहें।
दालचीनी पाउडर
आधा चम्मच दालचीनी पाउडर या छोटी दालचीनी 250 मिलीलीटर पानी में 5 मिनट के लिए उबालें, छान लें और इसे गर्म/ठंडा होने दें, फिर इसमें थोड़ा शहद और नींबू मिलाएं और इसे पी लें।
तुलसी और सोंठ
4-5 तुलसी के पत्तों को थोड़े से पानी में उबालकर छान लें और पी लें। आप चाहें तो इसमें शहद, अदरक भी मिला सकते हैं। अपने गले को शांत करने के लिए सोते समय सोंठ के पाउडर के साथ गर्म दूध से बेहतर कुछ नहीं।